ईश्वर की बनाई हुई इस दुनिया में ऐसी बातें छुपी हुई है जिनका मनुष्य आज तक पता नहीं लगा पाया है। आज हम आपके लिए ऐसी ही खबर लेकर आए जो ईश्वर की अनसुलझी हुई पहेली है। इस खबर में हम आपको झारखंड (Jharkhand) के एक कुंड के बारें में बताने जा रहे हैं। जिसके बारे में अपने शायद ही सुना होगा। आइए विस्तार से बताते हैं पूरी खबर।
किस जगह मौजूद है यह कुंड
जिस कुंड के बारें में हम बात कर रहे हैं वह भारत (India) के झारखंड (Jharkhand) राज्य के बोकारो (Bokaro) शहर से 27 किलोमीटर दूर मौजूद है। इस कुंड का नाम दलाही कुंड (Dalahi Kund) है। दलाई कुंड के बारे में अलग-अलग मान्यताएं हैं। मान्यताओं की वजह से ही दूर-दूर से लोग यहां आते हैं। जितने भी लोग यहाँ आते हैं उन लोगों की सभी मन्नतें पूरी होती हैं।
मौसम के विपरीत गर्म और ठंडा होता है इस कुंड का पानी
दलाही कुंड (Dalahi Kund) के बारे में कहा जाता है कि इस कुंड का पानी शार्दियों में इतना गर्म होता है कि इसमें आप चावल भी बना सकते है। लेकिन वहीं गर्मियों में इसका पानी बहुत ठंडा रहता है। यह इस कुंड की खासियत है। इस कुंड के बारें में आज तक कुछ भी पता नहीं लगाया जा सका है कि यहाँ का पानी मौसम के विपरीत ठंडा या गर्म क्यों होता है। इस कुंड में स्नान करने के बाद अधिकतर लोगों की मनोकामनाएं पूरी हो गई है। साथ ही इस कुंड के पानी से लोगों के रोग भी ठीक हो जाते हैं।
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वैज्ञानिक कर चुके हैं शोध
अधिकत्तर वैज्ञानिक ने दलाही कुंड (Dalahi Kund) के बारे में शोध किए हैं। इसलिए वैज्ञानिकों का कहना है कि इस कुंड में जो पानी आता है वह पानी जमुई नाले से होते हुए गरगा नदी में गिरता है। जहां पानी बहुत नीचे होता है। जिस कारण पानी को ऊपर लाने के लिए लोगों द्वारा ताली बजाई जाती है जिससे उत्पन्न ध्वनि तरंगों से इस कुंड का पानी ऊपर आता है। लेकिन लोग वैज्ञानिकों की इस बात पर भरोसा नहीं करते हैं और लोग इसे ईश्वर की देन मानते है।