महामारी का कहर इतना ज्यादा बढ़ गया है की लगातार इसके मामले बढ़ते जा रहे हैं। यह महा मारी सिर्फ भारत में ही नहीं बल्कि विश्व भर में अपने चरम सीमा पर है। इस महामारी के और ज्यादा बढ़ने के आसार जताए जा रहे हैं। इसी बीच उत्तरप्रदेश के लखनऊ से एक ऐसी घटना सामने आई है, जिसे पढ़कर आप हैरान हो जाएंगे।
डॉक्टर के भेष में था टीचर
उत्तरप्रदेश की लखनऊ पुलिस ने एक ऐसे व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। जो मेडिकल स्टाफ का सदस्य बताकर कोविड के मरीजों का इलाज कर रहा था। वह व्यक्ति खुद प्राथमिक विद्यालय में सरकारी टीचर था। इस दौरान टीचर ने एक कोविड मरीज का इलाज भी किया। टीचर द्वरा किए गए प्रयासों से उसकी मृत्यु हो गई, इस आरोप में युवक को पुलिस द्वारा गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस की ओर से आगे की कार्रवाई की जा रही है।
अपने आप को बताता था मेडिकल स्टाफ का सदस्य
शशिवेंद्र पटेल लखनऊ में थाना चिनहट कंचनपुर मटियारी में रहने वाला है। जो पेशे से प्राथमिक विद्यालय में सरकारी टीचर है। उस पर यह आरोप है कि कोविड महा मारी के दौरान वो अपने आप को नव्या कोर मेडिक्स इंडिया प्राइवेट लिमिटेड का कंसल्टेंट जोनल मैनेजर व चीफ मार्केटिंग ऑफिसर और मेडिकल स्टाफ बताता था। उसका यह भी दावा था कि उसके पास डॉक्टरों की एक टीम भी है। वह टीचर कोविड मरीजों के इलाज के नाम पर उसने मोटी रकम वसूलता था।
पीड़ित ने आरोपी के खिलाफ की एफआईआर
थाना इंचार्ज धनंजय पांडेय के अनुसार चिनहट थाने पुलिस के पास एक पीड़िता ने शिकायत दर्ज करवाई थी। पीड़िता ने यह बताया था की, एक डॉक्टर ने कोविड संक्रमित उसके पति से इलाज के नाम पर काफी ज्यादा पैसे लिए है। इलाज भी नहीं दिया। जिसके बाद उसके पति का निधन हो गया। पुलिस ने जब मामले की जांच की, तब पता चला कि वह फर्जी डॉक्टर बन लोगों का इलाज कर रहा था।
पुलिस ने जांच में पाया फ़र्ज़ी, कमिश्नर डीके ठाकुर ने दिए जांच के आदेश
पुलिस कमिश्नर डीके ठाकुर के ने यह जानकारी दी है कि, ”वो व्यक्ति खुद को मेडिकल से जुड़ा हुआ डॉक्टर बताता था। कोविड संक्रमण के मरीजों का इलाज करता था। इस दौरान एक महिला की शिकायत भी आई थी, इसके बाद पुलिस ने कार्यवाही की। यह अपने मकान में ही इलाज करता था। डॉक्टरों को बुलाने की बात भी करता था, और कहता था कि वहां पर बुलाकर इलाज करवाएगा। पुलिस की जांच में वह डॉक्टर फ़र्ज़ी निकला। टीचर को गिरफ्तार कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।