ट्रेन के जनरल कोच में TTE और पैसेंजर में भयंकर भिड़ंत, वायरल वीडियो ने मचाया तहलका!
इंस्टाग्राम पर वायरल हुआ वीडियो, 17 लाख से ज्यादा व्यूज
रेल यात्रा के दौरान TTE और पैसेंजर के बीच मामूली बहसें तो अक्सर होती हैं, लेकिन इस बार मामला कुछ ज्यादा ही बिगड़ गया। एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है जिसमें एक यात्री और TTE के बीच भयंकर हाथापाई देखने को मिल रही है। यह भिड़ंत किसी सामान्य कहासुनी की तरह नहीं बल्कि एक 41 सेकंड की जबरदस्त फाइट के रूप में सामने आई है।
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वायरल वीडियो का हाल
विवरण | जानकारी |
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📍स्थान | ट्रेन का जनरल कोच (लोकेशन अज्ञात) |
📅 वीडियो की तारीख | अनुमानतः एक सप्ताह पहले |
⌚ लड़ाई की अवधि | करीब 41 सेकंड |
📲 पोस्ट करने वाला | @aditya__shrivastav_01 (Instagram) |
👀 व्यूज | 17 लाख+ |
❤️ लाइक्स | 54 हजार+ |
💬 कमेंट्स | 1600+ |
⚖️ स्थिति | कानूनी कार्रवाई की पुष्टि नहीं |
कानूनी नजरिया: TTE और पैसेंजर, दोनों की जवाबदेही
इस वीडियो ने लोगों को चौंका दिया है क्योंकि ट्रेन में सरकारी कर्मचारी यानी TTE पर हाथ उठाना एक गंभीर अपराध है।
पैसेंजर पर लगने वाली धाराएं:
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BNS की धारा 113: सरकारी कर्मचारी पर हमला करने पर 2 से 5 साल की जेल या जुर्माना या दोनों।
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धारा 115(2), 117, 124: काम में बाधा डालने या धमकाने पर अतिरिक्त कार्रवाई संभव।
TTE के लिए भी नियम सख्त:
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धारा 129: ऑन-ड्यूटी किसी पर हाथ उठाने पर 1 साल तक की जेल या जुर्माना या दोनों।
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धारा 117, 124: यात्री के साथ दुर्व्यवहार या मारपीट पर कार्रवाई संभव।
सोशल मीडिया पर मचा बवाल
इस Reel पर यूजर्स की प्रतिक्रियाएं भी काफी दिलचस्प हैं।
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कई यूजर्स पैसेंजर की आलोचना कर रहे हैं।
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कुछ लोग TTE के जवाबी एक्शन को सही ठहरा रहे हैं।
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वहीं कुछ को जानने की जिज्ञासा है – “आखिर कौन जीता इस जंग में?”

क्या कहता है कानून और जिम्मेदारी का पहलू?
यात्री हो या कर्मचारी, कानून सबके लिए समान है। दोनों की जिम्मेदारी बनती है कि वे सार्वजनिक परिवहन में शांति और अनुशासन बनाए रखें। ऐसे मामलों में रेलवे सुरक्षा बल (RPF) और GRP को तुरंत हस्तक्षेप करना चाहिए।
निष्कर्ष
इस तरह के वीडियो भले ही इंटरनेट पर सनसनी फैला दें, लेकिन असल में यह सुरक्षा और अनुशासन की गंभीर कमी को दर्शाते हैं। उम्मीद की जानी चाहिए कि संबंधित विभाग इस पर संज्ञान ले और ऐसे मामलों को सख्ती से निपटाए।