यमुना एक्सप्रेसवे पर टोल अथॉरिटी दीपावली से पहले सुरक्षित सफर की सौगात लेकर आया है। आगरा-नोएडा के बीच गति नियंत्रित करने के लिए 20 ब्लैक स्पॉट पर स्पीड कैम लगाए जा रहे हैं। सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता करने के सीसीटीवी कैमरे बढ़ाए गए हैं। निर्धारित गति का उल्लंघन करने पर ई चालान भी होगा। 165 किलोमीटर लंबे यमुना एक्सप्रेस वे पर आगरा-नोएडा के बीच 20 ब्लैक स्पॉट पर स्पीड कैम लगाए जा रहे हैं। यह कार्य प्रगति पर चल रहा है। वाहनों की गति नियंत्रित करने के लिए सीसीटीवी कैमरे व स्पीड कैमरे बढ़ाए गए हैं। निर्धारित गति से तेज वाहन दौड़ाया या मानकों का उल्लंघन किया तो ई चालान भी किया जायेगा।
23.42 फीसदी आंकड़े ओवर स्पीड के
एक आंकड़े के मुताबिक यमुना एक्सप्रेस वे पर 23.42 प्रतिशत हा दसे ओवर स्पीड के कारण होते हैं। 12 प्रतिशत टायर फटने व 4.74 प्रतिशत कोहरे के चलते हा दसे होते हैं। सुरक्षा को लेकर पुलिस पेट्रोलिंग व निजी सुरक्षा पेट्रोलिंग के लिए सुरक्षाकर्मियों (प्राइवेट गार्ड) की संख्या भी बढ़ाई गई है। एक्सप्रेस वे पर लाइटें बढ़ाने का कार्य तेज गति से चल रहा है।
आगरा-नोएडा के बीच 20 अह्म स्थानों पर सीसीटीवी व स्पीड कैमरे लगाने का कार्य प्रगति पर है। टोल बूथ के सिस्टम को अपडेट किया जा रहा है।दीपावली के त्योहार पर ट्रैफिक बढ़ने पर उसे नियंत्रित करने के लिए अधिक लाइटें लगाई जा रही है। सुरक्षा के लिए पेट्रोलिंग के साथ साथ प्राइवेट गार्डों की संख्या बढ़ाई गई है। – तुलसीराम गुर्जर, टोल प्रभारी, खंदौली
सभी 14 लाइनों में फास्टैग प्रस्तावित:
यमुना एक्सप्रेस वे पर पहले दोनों साइड में 16-16 लेन थीं। अब टू व्हीलर की दो-दो लेंन बंद कर कार लेन बढ़ा दी गई हैं। अब दोनों तरफ 14-14 लाइनें हैं। सभी लाइन फास्टैग के लिए प्रस्तावित है। अप्रूवल मिलते ही सभी लाइनें को फास्टैग सिस्टम से जोड़ दिया जाएगा।
ब्लैक स्पॉट:
1- झरना नाला ( आगरा)
2- मिढ़ावली-बलदेव (मथुरा)
3- मथुरा
4- जेवर
5- नोएडा
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर मिलेगी एयर एंबुलेंस की सेवा:
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर आपको आपा त स्थिति में बेहतर चिकित्सा सेवा के लिए एयर एंबुलेंस की सेवा भी मिलेगी। यह देश का पहला एक्सप्रेसवे बनने जा रहा है जो एयर एंबुलेंस की सुविधा से भी लैस होगा। एनएचएआई पायलट प्रोजेक्ट के तहत दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर एयर एंबुलेंस सेवा को अप्रैल 2022 तक शुरू करने जा रहा है।
यहां का प्रयोग सफल होने पर देश के अन्य एक्सप्रेसवे पर भी इसी तरह की सुविधा मुहैया कराई जाएगी। उधर, एनएचएआई ने दिल्ली-एनसीआर से सटे सभी नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे पर इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए चार्जिंग स्टेशन बनाने का फैसला लिया है। इसकी शुरूआत भी सबसे पहले दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे से हो रही है। इसके बाद में ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे व दिल्ली-चंडीगढ़ और दिल्ली-मुंबई पर भी चार्जिंग स्टेशन बनाए जाएंगे।
एनएचएआई ने जारी किये दिशा-निर्देश :
दिल्ली से मेरठ के बीच नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने तीन चरण में (डासना से हापुड छोड़कर) करीब 60 किलोमीटर का एक्सप्रेसवे तैयार किया है। इसमें सराय काले खां से डासना तक 14 लेन की सड़क बनाई गई है, जिसमें बीच की छह लेन एक्सप्रेसवे के लिए आरक्षित हैं। उसके बाद डासना से मेरठ के बीच 32 किलोमीटर का ग्रीन एक्सप्रेसवे बनाया गया है। इसी ग्रीन कॉरिडोर के बीच में ही भोजपुर लूप से पहले एक्सप्रेसवे के दोनों तरफ जनसुविधाओं के लिए खाली जगह छोड़ी गई है। यहीं से एयर एबुलेंस की सुविधा मुहैया कराई जाएगी।
एक्सप्रेसवे पर सड़क दुर्घ टना होने पर सीधे मरीज को एयर एंबुलेंस से लिफ्ट कराने की सुविधा होगा। इसके अतिरिक्त अगर अन्य परिस्थितियों में कोई व्यक्ति अपने मरीज को एयर एंबुलेंस से किसी उच्च चिकित्सा संस्थान में ले जाना चाहता है तो भी निर्धारित शुल्क देकर ले जा सकेंगे। एनएचएआई अधिकारियों का कहना है कि एयर एबुलेंस की सुविधा देने वाला यह देश का पहला एक्सप्रेसवे होगा। इसके बाद अन्य एक्सप्रेसवे पर एयर एंबुलेंस सेवा शुरू की जाएगी।